मा० सुधीर कुमार गुप्ता

मा० सुधीर कुमार गुप्ता का डॉ० अम्बेडकर पुस्तकालय संचालन में मुख्य भूमिका है। देवघर अनुमंडलाधिकारी के पद पर रहते हुए, इन्होंने इस पुस्तकालय का शिक्षण व्यवस्था से लेकर डॉ० अम्बेडकर की कास्य धातु की मूर्ति तक पूरी निष्ठा के साथ कार्य किया। वे प्रशासन और समाज के सभी वर्गों को एक सूत्र में जोड़कर समतामूलक समाज निर्माण का संदेश दिया। इनका नारा था "ज्ञानदान! महादान!! ये गुमला, झारखण्ड में भी पुस्तकालय निर्माण कराकर हजारों जरूरतमंद छात्र-छात्राओं को राहत दी।